ब्यूरो
लखनऊ। प्रयागराज में राजू पाल हत्याकांड के मुख्य गवाह अधिवक्ता उमेश पाल और उनके गनर की हुई हत्या से उपजी तपिश शनिवार को विधान सभा में भी महसूस की गई। सीएम योगी और सपा प्रमुख अखिलेश यादव के बीच जमकर गहमा गहमी देखने को मिली। एक बार तो सीएम योगी ने अखिलेश से यह तक कह दिया कि तुम्हें शर्म आनी चाहिए जो अपने बाप को सम्मान नहीं दिला सके। शनिवार को कार्यवाही के दौरान योगी ने कहा कि जो सदस्य प्रदेश की महिला संविधानिक प्रमुख का सम्मान नहीं कर सकते, वह भला महिलाओं का क्या आदर करेंगे।
फिर कहा कि इनका आचरण तो स्टेट गेस्ट हाऊस कांड के समय भी सामने आया था। उन्होंने सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव का नाम लिए बगैर उनके बहुचर्चित कथन ‘लड़कें हैं, गलती हो जाती है’ का उल्लेख किया। इस पर तैश में आए अखिलेश ने खड़े होकर कहा कि- “दिल्ली की सरकार ने नेताजी को सम्मान दिया, आपको शर्म आनी चाहिए।” तमतमाए योगी ने जवाब दिया- ‘शर्म तो तुम्हें आनी चाहिए जो अपने बाप का सम्मान नहीं कर पाए।’
सदन की कार्यवाही के दौरान उत्तेजित सपा सदस्यों को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने अंदाज में दो टूक समझा दिया,- “किसी भी माफिया को पनपने नहीं दिया जाएगा। सरकार माफिया को मिट्टी में मिला देगी।” सपा की चुनौती से तमतमाए मुख्यमंत्री ने पलटवार किया- ‘इन अपराधियों-माफिया को पाला किसने? जिस अपराधी के खिलाफ एफआइआर दर्ज हुई है, उसे किस पार्टी ने सांसद बनाया था? योगी ने नेता प्रतिपक्ष अखिलेश यादव को खरी-खरी सुनाई- ‘आप अपराधियों को माला पहनाएंगे, उन्हें गले का हार बनाएंगे और हमारे ऊपर दोषारोपण करेंगे ?’सुबह 11 बजे सदन की कार्यवाही शुरू होते ही राज्यपाल के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा का जवाब देने के लिए मुख्यमंत्री जैसे ही उठे नेता प्रतिपक्ष और अन्य सपा सदस्यों ने खड़े होकर सरकार को घेरने की कोशिश की। अखिलेश ने पूछा -’प्रयागराज जैसे महानगर में जहां हाई कोर्ट भी हैं, वहां दिनदहाड़े गोलीबारी और बमबाजी कर एक अधिवक्ता और उनके सुरक्षा कर्मी की हत्या कर दी जाती है, पुलिस क्या कर रही थी? डबल इंजन की सरकार क्या कर रही है? मुख्यमंत्री पर तंज कसा- ‘क्या किसी फिल्म की शूटिंग के लिए आप यह करवा रहे हैं?’
मुख्यमंत्री ने कहा, ‘प्रयागराज की घटना दुखद है। मैं सदन को आश्वस्त करता हूं कि अपराध के प्रति जीरो टालरेंस की नीति के तहत सरकार जो कार्रवाई कर रही है, उसके परिणाम भी शीघ्र सामने आएंगे।’ फिर नेता प्रतिपक्ष से पूछा-”इस हत्याकांड में आरोपित माफिया को सांसद बनाया किसने?’ अखिलेश बोले, ‘आप अपराधियों के साथ हैं। वह माफिया बसपा के हैं। बसपा से आपकी दोस्ती है, इसलिए उनका नाम नहीं ले रहे हैं।’इस पर योगी ने कहा- ‘जिस अतीक अहमद के खिलाफ पीड़ित परिवार ने मुकदमा दर्ज कराया है, वह सपा का पोषित माफिया है। हम उस माफिया को मिट्टी में मिला देंगे। इस पर उत्तेजित सपा सदस्य विधान सभा अध्यक्ष के आसन के सामने नारेबाजी करने लगे, लेकिन योगी ने सर्जिकल स्ट्राइक स्टाइल में हमला जारी रखा।
वह कहते गए – ‘ये पेशेवर माफिया के सरपरस्त हैं। इनकी रग-रग में अपराध भरा है। अपराध के अलावा इन्होंने कुछ सीखा ही नहीं है।’ फिर बोले, ‘जिस माफिया ने यह कृत्य कराया है, वह प्रदेश के बाहर है। वह बार-बार विधायक और सांसद सपा की वजह से बना। 1996 में वह इलाहाबाद पश्चिम से सपा के सहयोग से एमएलए बना था। 2004 में भी वह माफिया इनके सहयोग से सांसद बना। 2009 में उसे सांसद बनाने का काम भी इन्होंने (सपा) किया। यह चोरी और सीनाजोरी कर रहे हैं।’
इस पर अखिलेश ने आपत्ति की कि सरकार कह रही है कि माफिया को मिट्टी में मिला देंगे तो विधान सभा अध्यक्ष बोले, ‘माफिया को तो मिट्टी में मिला ही देना चाहिए। प्रदेश भी यही चाहता है। तब अखिलेश ने कहा कि हम भी यही चाहते हैं लेकिन यह कौन सी भाषा है? माफिया के खिलाफ कार्रवाई कानून के दायरे में होती है। उन्होंने कानून व्यवस्था पर सोमवार को चर्चा कराने की मांग की।क्रिकेट मैच के जिक्र के साथ ही योगी ने अखिलेश सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे उनके चाचा शिवपाल सिंह यादव से भी चुटकी ली। योगी ने कहा कि क्रिकेट मैच के समय शिवपाल सिंह ने बड़ी अच्छी टिप्पणी की थी। उन्होंने कहा था कि ‘हमेशा अच्छी नीयत से खेलना चाहिए। मेरे पास भी खेल का सर्टिफिकेट है और मैं आज भी खेल रहा हूं। हालांकि, मंजिल तक पहुंचने के लिए खेल के साथ दांव-पेंच भी आना चाहिए। मुख्यमंत्री ने आजम के बहाने भी अखिलेश यादव और सपा पर जमकर निशाना साधा।